जींद, संजय शर्मा/रवि कुमार:- …मैंने पिछले दिनों कहा था कि अब याचना नहीं रण होगा। साथियो, रण के मैदान में उतरने का असली समय आ गया है। मैं तो चार-छह दिन के बाद जेल चला जाएंगा लेकिन इस रण के मैदान को आपके हवाले करके जाऊंगा, इस चुनावी मैदान में सिपाही भी तुम हो, योद्धा भी तुम हो और सेनापति भी आप सब-लोग हो। हर हालत में इस रण में विजयी होकर जेजेपी की पताका को चंडीगढ़ तक लेकर जाना है। मुझे पूरा यकीन है पार्टी के वफादार, मेहनती सिपाही और रण-नीतिकार इस जंग के मैदान में खरे उतर कर 31 जनवरी को मुझे उपचुनाव जीतने की खुशखबरी देंगे। ये शब्द जेजेपी संस्थापक डा. अजय सिंह चौटाला ने आज कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहे। वे मंगलवार दोपहर को जाट धर्मशाला में कार्यकर्ताओं को संबोधित कर रहे थे। इस अवसर पर इनेलो के सैनिक प्रकोष्ठ के अनेक पदाधिकारियों और सदस्यों ने जेजेपी में शामिल होने की घोषणा की। बहादुरगढ़ के सरपंच सुशील बैरागी ने भी जेजेपी में शामिल हुए।
डा. अजय सिंह चौटाला ने कहा कि राजनीति का रण तलवरों-हथियारों और बंदूकों से नहीं लड़ा जाता, यह रण तो वोटों के दम पर लड़ा जाता है। इस वोटों की जंग में हर कार्यकर्ता को दिन-रात मेहनत करनी है। उन्होंने कहा कि यदि जींद उपचुनाव की चुनावी जंग जीत ली तो सारे विरोधी परास्त हो जाएंगे और आने वाला कल जेजेपी का होगा। इसलिए आने वाले 20 दिनों में लोगों से मिलने, पार्टी से लोगों को जोडऩे, मतदाताओं का विश्वास हासिल करने और घर-घर जाने में किसी प्रकार की कोताही या कोर कसर मत छोडऩा।
अजय चौटाला ने कार्यकर्ताओं से कहा कि पहले भी आप हर कसौटी पर खरे उतरे हो, मुझे गर्व है इस बात पर। मेेरे जेल जाने के बाद 9 दिसंबर को जींद की पांडु पिंडारा की पावन धरा पर दुष्यंत को ताकत देकर आप लोगों ने बच्चों का मजाक उड़ाने वालों का माकुल जवाब दिया था। इस बार फिर परीक्षा की घड़ी है, इससे पास करना है।